Haal Kya Hai Dilon Ka
Kishore Kumar
5:51तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तौबा तौबा तौबा तौबा तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही अजी दस पैसे की दर्जन चने बिकते है अजी दस पैसे की दर्जन चने बिकते है सोने के भाव मॅटर मिलते है कोट के दामो लंगोट सिलाते है यार भी मतलब से गले मिलते है अजब है दुनिया गजब है ज़माना के बुल बुल है चुप गये उल्लू तरणना सुनो है बिकौ खुदा की खुदाई की किसी एक स्मग्लर ने बोली लगाई तौबा तौबा तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही अच्छी सूरत भी ज़माने में किधर मिलती है अजी बड़ी मुश्किल से ये बड़ी मुश्किल से हसीनो से नज़र मिलती है आज कलके ये हसी पहले जैसे तो नही पहले जैसे तो नही आज कलके ये हसी आँख में सूरमा कहा होत पर पं कहा वो खड़क हुई सलवार मेरी जान कहा वो दुपट्टा ना रहा वो गररा ना रहा अजी आबरू ढकने अब कोई सहारा ना रहा चेहरे चेहरे पे लिखही बेहयाई बेहयाई तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही एक चपरासी ने अफ़सर से सीकायत की है आपने आज सुबह च्छुपके जो रिश्वत ली है सीधा सीधा मेरा हिस्सा मुझे दे दो साहेब वरना करवा दूँगा निशह में तुझे मैं गायब तुम्हारी खुरसी कच्ची मेरा एसचूल पक्का के तुंहो दुक्कु टिक्की हुकुम का मैं हू एक्का मानी जाएगी मेरी गवाही गवाही मानी जाएगी मेरी गवाही गवाही तौबा तौबा तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही आज एक दोस्त पुराना सारे बाज़ार मिला पुचछा क्यो आज तेरा फूल सा चेहरा है खिला ज़ोर से हंस के ये खुश खबरी सुनाई उसने के अपने बाप की आरती सबेरे ही उठाई उसने पिताजी जल के हो गये राख लकिन छ्चोड़ गये दस लाख पिताजी जल के हो गये राख लकिन छ्चोड़ गये दस लाख उड़ेंगे नित दिन अब गुलच्छर्रे जाने रोज़ पिएँगे तर्रे होंगे रात रात अब मुज़रे राजा तेरी गोदी में वीना बन जौंगी राजा तेरी गोदी में वीना बन जौंगी राजा तेरी गोदी में जब मेरे सैया को भूख लगेगी जब मेरे सैया को भूख लगेगी लड्डू पैदा आय हे लड्डू पैदा जलेबी बन जौंगी लड्डू पैदा जलेबी बन जौंगी राजा तेरी गोदी में वीना बन जौंगी राजा तेरी गोदी में राम की धरती में ऐसी अगर औलाद होगी क्यू ना मट्टी मेरे इस देश की बर्बाद होगी अब ना मस्ज़िद में नमज़े है ना मंदिर में भजन केबरे डॅन्स में खोया हुआ है सारा वाटन कब कोई तुलसी आना ना कोई कभी कबीर आएगा और दम तोड़ते इंसान को बचा जाएँगा ना होगा मॅन कला ना होगा धन कला मिट जाएगी सारी सियाही सियाही और सेटन देगा दुहाई दुहाई तौबा तौबा तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही तौबा तौबा तबाही तबाही