Rail Banaungi (Feat. Vijay Varma & Jaat Nia)

Rail Banaungi (Feat. Vijay Varma & Jaat Nia)

Raj Mawar, Komal Chaudhary

Длительность: 2:58
Год: 2025
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Текст песни

ओ घणी मटकावे थी कमर ने, घणी मटकावे थी
घणी मटकावे थी कमर ने, घणी मटकावे थी
हे रे रे गोरी हलवे हलवे चाल, गाठ की रेल बनावे थी
हे रे रे गोरी हलवे हलवे चाल, गाठ की रेल बनावे थी

घणी मटकाऊंगी कमर मैं तौ, घणी मटकाऊंगी
दिखे रे मैं तौ मार मार के धूंगे, गाठ की रेल बनाऊंगी
दिखे रे मैं तौ मार मार के धूंगे, गाठ की रेल बनाऊंगी

रे तेरे ५२ गज के दामन ऊपर झोल पड़े सै कसूटी
हे रे सारे गांव के छोरा में, रे मेरी बोले सै आज टूट्टी
रे तेरे ५२ गज के दामन ऊपर झोल पड़े सै कसूटी
हे रे सारे गांव के छोरा में, रे मेरी बोले सै आज टूट्टी

हो क्यूं शरमावे थी, गाल में क्यूं शरमावे थी
हे रे रे गोरी हलवे हलवे चाल, गाठ की रेल बनावे थी
हे रे रे गोरी हलवे हलवे चाल, गाठ की रेल बनावे थी

है जयपुर ते मैं लाई रे चुनरी, नीचे दामन धौला
हे रे मरजा छोरे कट कट के, अर रंगी होर्या बोला
है जयपुर ते मैं लाई रे चुनरी, नीचे दामन धौला
हे रे मरजा छोरे कट कट के, अर रंगी होर्या बोला

हे रे ना गिरकाऊंगी जले रे मैं तौ, ना गिरकाऊंगी
दिखे रे मैं तौ मार मार के धूंगे, गाठ की रेल बनाऊंगी
दिखे रे मैं तौ मार मार के धूंगे, गाठ की रेल बनाऊंगी