Dum (Version, 1)
Sandeep Chowta
4:59उसके सिवा कुछ याद नहीं उसके सिवा कोई बात नहीं उन ज़ुल्फ़ों की छाँव में उन गहरी निगाहों में उन क़ातिल अदाओं में हुआ, हुआ, हुआ मैं मस्त हे मस्त, हे मस्त, मैं मस्त उसके सिवा कुछ याद नहीं उसके सिवा कोई बात नहीं उन ज़ुल्फ़ों की छाँव में उन गहरी निगाहों में उन क़ातिल अदाओं में हुआ, हुआ, हुआ मैं मस्त हे मस्त, हे मस्त, मैं मस्त उस रूप में मैं मस्त हूँ उस रंग में मैं मस्त हूँ उसका नशा मैं क्या कहूूँ! हर एक लम्हा मैं मस्त हूँ वो दौड़े है नस-नस में वो दौड़े है रग-रग में अब कुछ ना मेरे बस में हुआ, हुआ, हुआ मैं मस्त मैं मस्त, हे मस्त, मैं मस्त उसके सिवा कुछ याद नहीं उसके सिवा कोई बात नहीं मस्त, हे मस्त, मस्त, हे मस्त उसकी ख़बर, उसका पता बाकी सभी है लापता उसका वो दिल मेरा पता मुझको बता, रब को पता चलती हैं मेरी साँसें उसका नाम ले-ले के दिल से आती हैं आवाज़ें हुआ, हुआ, हुआ मैं मस्त हे मस्त, हे मस्त, मैं मस्त उसके सिवा कुछ याद नहीं उसके सिवा कोई बात नहीं उन ज़ुल्फ़ों की छाँव में उन गहरी निगाहों में उन क़ातिल अदाओं में हुआ, हुआ, हुआ मैं मस्त हे मस्त, हे मस्त, मैं मस्त उसके सिवा कुछ याद नहीं उसके सिवा कोई बात नहीं उसके सिवा कुछ याद नहीं उसके सिवा कोई बात नहीं उसके सिवा कुछ याद नहीं उसके सिवा कोई बात नहीं उसके सिवा कुछ याद नहीं