Bholenath Damru Wale
Aavya Dubey
6:04भटकता मन है मोहन, अब तो राह दिखाओ भटकता मन है मोहन, अब तो राह दिखाओ चरणों में दे दो आश्रय, मुझको पास बुलाओ भटकता मन है मोहन, अब तो राह दिखाओ भटकता मन है मोहन, अब तो राह दिखाओ मन मेरा है बंजारा, तू ही है एक किनारा भूल मेरी हो माफ़, बस तेरा नाम सहारा कृपा की रेख खींचो, अब तो द्वार दिखाओ भटकता मन है मोहन, अब तो राह दिखाओ भटकता मन है मोहन, अब तो राह दिखाओ अंधेरे दिल के छाए, नैनन में नीर समाए संघर्षों से टूटा मन, तुझसे आस लगाए छू ले तू विश्वास से, जीवन रूप सँवारे भटकता मन है मोहन, अब तो राह दिखाओ भटकता मन है मोहन, अब तो राह दिखाओ मुरली की वो मधुरता, है जैसे प्राण हमारा तेरे बिना अधूरी, लगे हर एक दुवारा रस बरसे प्रेम तेरा, मन को रंग लगाओ भटकता मन है मोहन, अब तो राह दिखाओ भटकता मन है मोहन, अब तो राह दिखाओ