Kaafir Andhere

Kaafir Andhere

Jeet Gannguli & Kk

Длительность: 4:17
Год: 2012
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Текст песни

काफ़िर अंधेरे
डाले है घेरे
दर पे खड़ा है
मूह घुमा के
रूटा सवेरा
लम्हे सफेरे
सोने ना धे
लगने लगा है
कशमा काश का
दिल यह बसेरा
बदती है जुर्माना
मेरी कौन सी कथा
वाडा तोड़ने से पहेले
इतना तो बता
तेरी यादों के शहेर में रफ़्ता रफ़्ता
गली गली और कोना कोना
फिरता हूँ ला पता
ला पता काफ़िर अंधेरे

किस्मत ने मौलात भी दी ना मुझे
ऐसी थी नाराज़गी
अंबार में जाने
माना ही क्यूँ
मेरी है परवाज़ की
मत पड़ने छुआ जो
तेरा मेरा रिश्ता
मंज़िल मुरजाई
उजदा रास्ता
तेरी यादों की
शहेर में रफ़्ता रफ़्ता
गली गली कोना कोना
फिरता हूँ
ला पता ला पता
काफ़िर अंधेरे

मृग त्रिशाना
जैसा था अपना मिलन
लिखा था होना जुड़ा
तू भी महज़न इंसान है
समझा था मैं ही खुदा
ओ एहसास जो पहले
नाज़ुक दिल का
अब दर्द की तरह
जुग था रहता
तेरी यादों की
शहेर में रफ़्ता रफ़्ता
गली गली और कोना कोना
फिरता हूँ ला पता
तेरी यादों की
शहेर में
रफ़्ता रफ़्ता
गली गली और कोना कोना
फिरता हूँ ला पता ला पता
काफ़िर अंधेरे