Dhani Ho Sab Dhan

Dhani Ho Sab Dhan

Pawan Singh

Альбом: Dhani Ho Sab Dhan
Длительность: 3:26
Год: 2023
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Текст песни

लेके थरिया खोजेलऽ तरकरिया (त द)
आग लाग जाला दिल के भीतरिया (पानी डालीं?)
काम कइला से हो गइनी करिया (आएँ?)
हम त नइहरे में रहीं, ए सँवरिया (अच्छा)

रुसऽ ना, करेजा, करेजा हमार फाटे
(छोटी-छोटी बात प तू लागऽ तारू डाँटे)

धनी हो, सब धन तहरे नु बाटे
(भाभी हो, सब धन तहरे नु बाटे)
धनी हो, सब धन तहरे नु बाटे
(भाभी हो, सब धन तहरे नु बाटे)

भगबऽ कि ना लोग?

दाँत पीसी के खिसि में सानेलू आटा
तू प्यार के अचार जस कई देलू खाटा

हँ-हँ, त सुनऽ
का ह, बोलऽ?

अब तहरा से हम बतियाइब हो, राजा, बेलने से
बड़ी परेसान हम भइनी हो, दुख झेलने से

लागेलू पियाज ध के दाँते से काटे (तहरो के काटेब)
(छुरी धरऽ हई चूड़ी के हाथे)

धनी हो, सब धन तहरे नु बाटे
(भाभी हो, सब धन तहरे नु बाटे)
धनी हो, सब धन तहरे नु बाटे
(भाभी हो, सब धन तहरे नु बाटे)

आ, ई का हो?
चुप-चाप खा

तू त दाली में डाली के दे तारू चीनी
ना गुस्सा में घूसा तानऽ, मलकिनी
अच्छा! हँ, त अपने से बना के खा

एकरा से नीक, Ashu, रहतीं हो, बिना गवने के
कवन करम हम कइनी हो, भइनी पवने के

हँ, त हमरो सुनऽ
त बोलिए द

भइल बा बियाह, ना ले अइनी बोला के
(हमहूँ त गइल रहीं बरियाते)
जा!

तबो, ए धन, धन तहरे नु बाटे
(भाभी हो, सब धन तहरे नु बाटे)
धनी हो, सब धन तहरे नु बाटे
(भाभी हो, सब धन तहरे नु बाटे)