Kabhi Kabhi
Aur
3:32You belong right in this moment I'm falling fast My heart, you just stole it Don't bother asking Everything's right with me As long as you stay with me की जब मैं हद्द से आगे बढ़ गया था आशिक़ुई मे यानी ज़िंदगी को ले रहा मज़ाक ही मे फिर मज़ाक ही मे मिल गया सब खाक ही मे छू कर आया मंज़िले तो तन्हा था मे वापसी मे जैसे फूल तोड़े होंगे तुमने झोली भरके मैं वो फूल जो की रह गया था शाख ही मे जैसे ख्वाब ही मे ख्वाब गाहें आँख ही मे पल से पल मे क्या हुआ तुम रह गये बस याद ही मे एक सवाल मचलता है मेरे दिल मे कभी तुझे मे भूल जाऊ या तुझे मे याद करू तुझी को सोच के लिखता हू जो भी लिखता हू अब लिख रहा हू तो फिर क्यू ना एक सवाल करू मैं इस सवाल से ग़म तो बदल दू खुशियों मे पर इन्न बेजान सी खुशियों से क्या कमाल करू पर अब सवाल भी कमाल, तू संभाल ले फिलहाल ये ज़वाल बिछा जाल क्या मैं चाल चलू चाल चल तू अपनी मैं तुझे पहचान लूँगा मैं अपनी महफ़िलों मे सिर्फ़ तेरा ही नाम लूँगा तुझे पसंद है धीमा लहज़ा ओर बस खामोशियाँ मैं तेरे खातिर अपनी खुद की साँसे थाम लूँगा क्या तेरे सारे आँसू मेरे हो सकते है ऐसा है तो तेरे खातिर हम भी रो सकते है मेरे खातिर मेरे रोने पर अब तुम बस हस्स देना एकबार तेरी मुस्कुराहट के पीछे हम सब कुछ खो सकते है क्या मेरी मोहब्बतों का कोई हिसाब नही है तेरी आँखों मे मेरे लिए कोई ख्वाब नही है तुझे क्या ही करू घंज़ड़ा अब जाने दे की तेरे पास मेरे प्यार का जवाब नई है कितनी मुद्दते हुई है, तुमने खत क्यू नही भेजा गा लेता हू तेरे लिए, मौसीक़ी नही है पेशा आने की खबर ही नही तेरे अब अब क्या मौसमो से पुछु तेरे आने का अंदेशा आँखों मे आंसू नही है कहा है तू कहा तू नही है दिल को ये अब जान’ना ही नही, बस तुम चले आओ तू है कहाँ? खवाबओं के इस शहर मे मेरा दिल तुझे ढूंढ़ता ढूंढ़ता अरसा हुआ तुझको देखा नही तू ना जाने कहाँ च्छूप गया च्छूप गया आओ फिर से हम चलें थाम लो ये हाथ, कर दो कम ये फ़ासले ना पता हो मंज़िलों का, ना हो रास्ते तू हो मैं हू बैठें दोनो फिर हम तारों के तले ना सुबह हो फिर, ना ही दिन ढले कुछ ना कह सकें, कुछ ना सुन सकें बातें सारी वो, दिल मे ही रहें तुम को क्या पता है क्या हो तुम मेरे लिए 'कहकशा' हो तुम 'कहानियों की परियों' की तरह हो तुम मुझ मे आ सके ना कोई इस तरह हो तुम हो 'यक़ीन' तुम मेरा या फिर 'गुमा हो तुम म्म्म्मममम आशियाँ' हो तुम मैं 'भटका सा मुसाफिर" और मकान' हो तुम मेरी मंज़िलों का एक ही 'रास्ता' हो तुम ढूंढ़ता है दिल तुझे बता कहाँ हो तुमम्म् हो जहाँ कहीं भी आओ पास ताके आँसू मेरे थम सकें याद आ रहे हो तुम मुझे अब हर लम्हे ऐसी 'ज़िंदगी ' का कया जो तुम 'ज़िंदगी' मे होके मेरी ज़िंदगी' ना बन सके सोचता रहूं या भूल जाऊ अब तुम्हे तुम मिल ही ना सकोगी तो फिर कैसे चाहूं अब तुम्हे तेरे सारे ख्वाब पल मे जोड़ देंगे जिसमे तू ही ना बसेगा फिर वो दिल ही तोड़ देंगे छोड़ देंगे वो शहर, के जिसमे तुम ना होगे टूट जाएँगे मकान, वो सारे हसरातों के गुज़रे पल जो साथ तेरे वो पल हैं बस सुकून के मिल लो अब तुम इस तरह के फिर नही मिलोगे तू ही था साथ मे मेरे कैसे मैं जीऊ गा अकेले तारे गिन गिन के हो गई है सुबह तू है कहाँ? ख़्वाबों के इस शहर मे मेरा दिल तुझे ढूंढ़ता ढूंढ़ता अरसा हुआ तुझको देखा नहीं तू ना जाने कहाँ छुप गया (छुप गया) छुप गया आ You belong right in this moment I'm falling fast My heart, you just stole it Don't bother asking Everything's right with me As long as you stay with me